Psychological Tips to Quit Smoking धूम्रपान छोड़ने में मदद करेंगे ये 12 Psychological Tips

धूम्रपान एक खतरनाक और नशे की लत लगाने वाली आदत है जो कई तरह की स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकती है. गंभीर स्वास्थ्य जोखिमों के बावजूद, धूम्रपान छोड़ना आसान नहीं है. निकोटीन एक नशीला पदार्थ है, और इसकी लत छोड़ना बेहद मुश्किल है. हालांकि, साइंस और साइकोलॉजिकल टिप्स की मदद से धूम्रपान छोड़ने में मदद (Psychological Tips that will Help to Quit Smoking) मिल सकती है. हम आपको धूम्रपान छोड़ने में मदद करने के लिए विज्ञान-आधारित और मनोवैज्ञानिक सुझावों शेयर करेंगे.

सिगरेट, बीड़ी जैसी चीज़ें छोड़ना किसी भी इंसान के लिए लाइफ़ की सबसे मुश्किल चुनौतियों में से एक हो सकता है. धूम्रपान छोड़ने (Quit Smoking) के लिए लोगों को मेहनत, धैर्य और कठिन परिश्रम लगता है. कुछ टिप्स और ट्रिक्स से मदद मिल सकती है लेकिन पूरी मेहनत व्यक्ति को ही करनी पड़ती है.

टिप्स पहले समझते हैं सिगरेट छोड़ना क्यों ज़रूरी है? (Smoking is Injurious To Health)

Smoking File

दुनिया में सबसे ज़्यादा मौत के प्रमुख कारणों में से एक है सिगरेट पीना या धूम्रपान. यह फेफड़ों के कैंसर (Lung Cancer), स्ट्रोक, हृदय रोग और सांस की बीमारियों सहित कई स्वास्थ्य समस्याओं के लिए जिम्मेदार है. धूम्रपान न केवल धूम्रपान करने वाले को प्रभावित करता है, बल्कि धूम्रपान करने वाले व्यक्ति के आस-पास के लोगों को भी प्रभावित करता है जो धुएं से संबंधित बीमारियों का कारण बनते हैं.

जब धूम्रपान करने वाला व्यक्ति धूम्रपान छोड़ देता है तब उसके शरीर में कई तरह के बदलाव आते हैं. दिल की बीमारी होने का खतरा कम हो जाता है, कैंसर होने का खतरा कम हो जाता है. धूम्रपान छोड़ने के बाद आपको सांस, स्वाद और गंध लेने में भी बदलाव नज़र आता है. इसके अलावा आपके पैसे भी बचते हैं.

1. स्मोकिंग छोड़ने की एक तारीख तय कर लें (Set a Date to Quit)

एक हफ़्ते या दो हफ़्ते या तीन हफ़्ते बाद की तारीख चुन लें. इस तारीख को अपने दोस्तों, रिश्तेदारों और ऑफ़िस के सहकर्मियों से शेयर करें. साइकोलॉजिस्ट्स के अनुसार अगर आप बहुत दूर की तारीख चुनते हैं तो आप मोटिवेशन लूज़ कर सकते हैं. जो तारीख चुनी हो उस दिन से एक दिन पहले धूम्रपान की वस्तुएं फेंक दे.

2. Triggers से बचने की कोशिश करें (Try to Avoid Triggers)IT

धूम्रपान छोड़ना एक शारीरिक चुनौती ही नहीं बल्कि एक मेंटल टास्क भी है. निकोटीन काफ़ी नशीला पदार्थ है, इससे वापसी के लक्षणों को संभालना बहुत मुश्किल हो सकता है. यही वजह है कि एक बार क्वीट करने के बाद भी बहुत से लोग फिर से धूम्रपान करना शुरू कर देते हैं.

सिगरेट, बीड़ी आदी छोड़ने वालों के लिए एक ज़रूरी साइकोलॉजिकल ट्रिक है ट्रिगर्स की पहचान करना और उनसे बचने या निपटने की कोशिश करना. यहां उन ट्रिगर्स की बात की जा रही है जो किसी को स्मोक करने के लिए प्रेरित करती हैं. उदाहरण- अगर आप सुबह की चाय या फिर खाना खाने के  बाद स्मोक करते हैं तो ऐसे समय में आप कोई और एक्टिविटी करें.

3. अपने हाथों को व्यस्त रखें (Keep Your Hands Busy)

कहते हैं जिन्हें सिगरेट पीने की आदत होती है उन्हें हाथ में सिगरेट पकड़ने की भी आदत हो जाती है. जब वो धूम्रपान छोड़ते हैं तब वो उंगलियों के बीच सिगरेट, सिगार, बीड़ी आदि को मिस करते हैं. आप अपने हाथों को व्यस्त रखकर भी धूम्रपान की आदत छोड़ सकते हैं. एक्सरसाइज़ से लेकर हर्बल टी (Herbal Tea) तक का इस्तेमाल कारगर साबित हो सकता है. धूम्रपान को बदलने के लिए एक नई, स्वस्थ आदत खोजने से धूम्रपान से जुड़े शारीरिक और मनोवैज्ञानिक पैटर्न को तोड़ने में मदद मिल सकती है.

4. दोस्तों को Quit करने के बारे में बताएं (Tell Others About Your Resolution to Quit)IT

डोमिनिकन यूनिवर्सिटी, कैलिफ़ोर्निया की एक स्टडी के अनुसार अगर किसी ने धूम्रपान छोड़ने का मन बना लिया है तो उसे ये अपने दोस्तों और करीब के लोगों को बताना चाहिए. कागज़ पर लिखकर घर की दीवारों पर लगाने से भी मदद मिलती है. कुछ साइकोलॉजिस्ट्स का कहना है कि धूम्रपान छोड़ना है इस पर जर्नलिंग भी मददगार साबित हो सकती है. आप अपने रोज़ के अनुभवों को, विचारों को जर्नल में लिख सकते हैं.

5. एक जगह बैठे न रहें (Physical Activity)

फ़िज़िकल एक्टिविटी भी क्वीट करने में मदद कर सकती हैं. जब आपको धूम्रपान करने की इच्छा हो तब अपना पसंदीदा गाना लगाओ और डांस करो. या फिर जूते पहनो और वॉक या रनिंग करने निकल जाओ. कुछ रिसर्च स्टडीज़ में ये साबित हुआ है कि जैसे ही आप फ़िज़िकल एक्टिविटीज़ शुरू करते हैं, आपकी निकोटीन क्रेविंग्स भी कम होने लगती है.

6. एक सिगरेट पीने से कुछ नहीं होगा, ऐसी सोच गलत है(Dont have just One)

एक घंटा, एक दिन, एक हफ़्ते में आप स्मोकिंग नहीं छोड़ सकते, ये ध्यान रखें. ये एक प्रोसेस है और इसमें आप कई बार असफ़ल भी होंगे. ऐसा हो सकता है कि 2-3 दिन सिगरेट न पीने के बाद आप सिगरेट पी लें और अपने आप से किया वादा भूल जाएं. अगर ऐसा हो जाए तो खुद को बुरा-भला कहने के बजाए दोबारा शुरू करें. और इस बार दोगुनी सीरियसनेस के साथ. कुछ साइकोलॉजिस्ट्स का मानना है कि ‘सिर्फ़ एक पी लेती हूं’ एक बहुत बड़ा ट्रैप है. कई बार लोग एक के बाद दूसरी, दूसरी के बाद तीसरी तक कुछ ही मिनटों में पहुंच जाते हैं. कोशिश करें कि अगर आपने धूम्रपान छोड़ने के बारे में पक्का निर्णय कर लिया है तो उसी पर कायम रहें.

7. रिलैक्सेशन टेक्नीक्स मददगार साबित हो सकते हैं (Try Relaxation Techniques)

धूम्रपान छोड़ने में कुछ रिलैक्सेशन टेक्नीक्स मददगार साबित हो सकते हैं. तंबाकू की क्रैविंग से लड़ना किसी बड़े जंग से कम नहीं है. कुछ तरीकों से आप खुद को शांत कर सकते हैं. जैसे- डीप ब्रीदिंग, मसल रिलैक्सेशन, योगा, विज़ुअलाइज़ेशन, मसाज आदि.

8. फ़ायदों के बारे में खुद को याद दिलाएं (Remind yourself about the benefits)

ये साइकोलॉजिकल ट्रिक कुछ स्मोकर्स के लिए बेहद कारगर साबित हुई है. आप क्वीट क्यों कर रहे हैं, इससे आपको क्या फ़ायदे होंगे ये खुद को याद दिलाएं. एक कागज़ पर धूम्रपान छोड़ने के फ़ायदे, जैसे- बेहतर स्वास्थ्य, पैसों की बचत आदि लिखें. आप धूम्रपान क्यों छोड़ रहे हैं, जैसे- कोई पर्सनल रिज़न, किसी बीमारी के लक्षण आदि लिखें. जब भी आपको धूम्रपान करने की इच्छा हो नोट्स को पढ़ें. ज़रूरत पड़ने पर ज़ोर-ज़ोर से पढ़ें.

9. परिवार से या ऑनलाइन हेल्प लें (Take Help from Family or Find Online Support )

धूम्रपान छोड़ने में आप अपने परिवार की मदद ले सकते हैं. अक्सर परिवार के लोग स्मोकर को जज कर लेते हैं, अगर माता-पिता बच्चों को स्मोक करते देख लें तो फटकार लगाते हैं, हाथ भी उठा देते हैं. स्मोकिंग शुरू करने वाले या स्मोकिंग के आदी लोगों को परिवार की ज़रूरत होती है. साइकोलॉजिस्ट डॉ. गोल्डबर्ग का कहना है, ‘अगर कोई धूम्रपान छोड़ रहा है तो उसकी बातें सुनें. उनका हाल-चाल पूछते रहें. उन्हें घूमने-फिरने या उनके साथ फ़िल्म देखने जाएं. सिर्फ़ उनके साथ रहें, इससे काफ़ी फ़र्क पड़ता है.’

कुछ ऑनलाइन प्रोग्राम्स भी हैं जो स्मोकर्स को स्मोकिंग छोड़ने में मदद कर सकते हैं.

10. स्ट्रेस मैनेजमेंट (Manage Your Stress)

आमतौर पर लोग स्ट्रेस की वजह से ही स्मोकिंग शुरू करते हैं. रिलैक्सेशन टेक्नीक्स से स्ट्रेस मैनेज करने में मदद मिल सकती है. जैसे ही आपके स्ट्रेस लेवल्स कम होंगे वैसे ही स्मोक करने की इच्छा भी कम होगी. स्ट्रेस मैनेज करने के लिए वर्कआउट, अच्छी नींद, अच्छा खान-पान मदद कर सकता है.

11. निकोटीन रिप्लेसमेंट थेरेपी (Nicotine Replacement Therapy)

धूम्रपान छोड़ना बेहद मुश्किल है लेकिन साइंस की मदद से ये संभव है.  निकोटीन रिप्लेसमेंट थेरेपी (Nicotine Replacement Therapy) से निकोटीन के आदी लोगों को मदद मिल सकती है.  निकोटीन रिप्लेसमेंट थेरेपी (NRT) में निकोटीन पैच, च्युइंग गम, कैंडी, इनहेलर, नेज़ल स्प्रे का इस्तेमाल किया जाता है. इस तरह की चीज़ें व्यक्ति को दोबारा धूम्रपान शुरू करने से रोकती हैं.

कॉग्निटिव बिहेवियरल थेरेपी (Cognitive Behavioral Therapy) से भी मदद मिल सकती है. इस प्रकार की मनोचिकित्सा व्यक्तियों को धूम्रपान की ओर ले जाने वाले नकारात्मक विचारों और व्यवहारों को पहचानने और बदलने में मदद करती है. सीबीटी सत्र व्यक्तिगत रूप से या समूहों में किए जा सकते हैं.

12. स्मोकिंग टाइम को दूसरी एक्टिविटी से रिप्लेस करें (Replace Smoking with Another Activity)

जिस वक्त आप स्मोक या धूम्रपान करते हैं उस वक्त पर कोई और एक्टिविटी करें. ये कुछ भी हो सकता है, अपनी पसंद के हिसाब से कुछ भी चुन लें. जैसे- जिस समय आप स्मोक करते थे, उस समय अगर दफ़्तर या घर से बाहर निकल गए हैं तो अच्छे से सांस ले. या फिर 15 मिनट वॉ करें.