जिला मंडी के सबसे बड़े शहर सुंदरनगर के बीएसएल जलाशय किनारे पिछले 60 वर्षों से सुबह-शाम सैर सपाटा करने वाले लोगों के लिए बीएसएनल परियोजना में तैनात सीआरपीएफ परेशानी का सबक बन गई है। बीएसएल परियोजना की सुरक्षा जिम्मा संभाल रही सीआरपीएफ ने जलाशय किनारे टेल कंट्रोल व इसके आस-पास के क्षेत्रों में आम नागरिकों की आवाजाही बंद कर दी है। जिससे स्थानीय लोगों में भारी रोष और अब यह विरोध लगातार बढ़ता जा रहा है। गेट बंद होने से बुजुर्गों, महिलाओं, युवाओं और स्थानीय लोगों को मायूस होकर लौटना पड़ रहा है।
मामले को लेकर भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता व स्थानीय निवासी अजय राणा ने बीएसएल जलाशय किनारे आम जनता के लिए सीआईएसएफ द्वारा गेट बंद किए जाने की बात को दुर्भाग्यपूर्ण करार दिया. उन्होंने बीबीएमबी प्रबंधन से गेट को आम जनता के लिए खोलते हुए समस्या का नीदान करने की मांग की है। अजय राणा ने कहा कि 60 वर्ष पुरानी बीएसएल परियोजना में सुंदरनगर जलाशय किनारे बुजुर्ग, युवा और अन्य लोग सुबह-शाम स्वास्थ्य लाभ अथवा अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारियों के लिए सैर व दौड़ लगाते है। लेकिन जबसे बीएसएल परियोजना की सुरक्षा का जिम्मा सीआरपीएफ ने संभाला है तबसे वर्षो पुराने रास्ते को जनता के लिए बंद कर दिया है। जिस कारण लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।