हिमाचल में भारी बारिश से हुई तबाही के बाद अब पर्यटकों को रेस्क्यू करने व जन जीवन को पटरी पर लाने के लिए सरकार ने युद्ध स्तर पर काम शुरू कर दिया है। मुख्यमंत्री दो दिनों से कुल्लू, मनाली, लाहौल-स्पीति व मंडी में राहत एवं बचाव कार्य की मॉनिटरिंग कर रहे हैं। साथ ही मंत्रियों की भी अब सीएम ने जिम्मेदारियां तय कर दी है। शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर को भी शिमला जिला में राहत एवं बचाव कार्य व समन्वय का जिम्मा सौंपा गया है।
रोहित ठाकुर ने बताया कि वीरवार को कुल्लू जिला से पर्यटकों की 10 हजार गाड़ियां भेजी गई है, जिसमें 50 से 60 हजार पर्यटकों की सकुशल घर वापसी हुई है। प्रदेश में अब तक मानसून से 88 लोगों की मौत हुई है, जबकि 14 लोग लापता हैं। 4000 करोड़ के आस-पास मानसून में प्रदेश को नुकसान हो गया है, जो आने वाले समय में और अधिक बढ़ने की आशंका है।
लाहौल-स्पीति के चंद्रताल में हेलीपैड न होने की वजह से रेस्क्यू ऑपरेशन में दिक्कत आ रही है। इसलिए अब सड़क मार्ग से फंसे हुए पर्यटकों का रेस्क्यू किया जाएगा, जिसके लिए मंत्री जगत सिंह नेगी को जिम्मा सौंपा गया है।