अरुण मेहता सोलन – हिमाचल प्रदेश के सेब उत्पादकों का सब्र अब जवाब दे रहा है। कांग्रेस के पूर्व प्रदेश सचिव अरुण मेहता ने छैला से सोलन तक की खस्ताहाल सड़क को लेकर केंद्र सरकार पर तीखा प्रहार किया है। उन्होंने स्पष्ट शब्दों में कहा, जिस सड़क से हिमाचल का सबसे बड़ा फल कारोबार जुड़ा है, वही सड़क वर्षों से सरकार की बेरुखी का शिकार है। सेब उगाने वाला किसान करोड़ों की फसल लेकर निकलता है, लेकिन रास्ते में गड्ढे और सरकारी लापरवाही उसका स्वागत करती है। अरुण मेहता ने चेतावनी भरे लहजे में कहा कि सोलन की एपीएमसी में हर साल करीब 1500 करोड़ रुपये का सेब कारोबार होता है, लेकिन छैला-सोलन मार्ग की हालत जानलेवा बन चुकी है। दर्जनों वाहन हादसों का शिकार हो रहे हैं, सेब की पेटियाँ रास्ते में खराब हो रही हैं और दो घंटे की दूरी तय करने में दो-दो दिन लग रहे हैं। उन्होंने खुलासा किया कि सड़क पर ड्रेनेज तक नहीं है और यह अभी तक मेजर डिस्ट्रिक्ट रोड ही बनी हुई है – यह सीधा किसानों के साथ धोखा है। मेहता ने बताया कि रोहड़ू, जुब्बल-कोटखाई, चौपाल, कुसुम्पटी, पच्छाद और ठियोग से आने वाला सेब इसी सड़क से गुजरता है, और सबसे बुरी मार राजगढ़ और ठियोग के किसानों पर पड़ रही है। एक किसान 10,000 पेटी सेब उगाता है, लेकिन सड़क की दुर्दशा के कारण उसकी मेहनत मिट्टी में मिल रही है, मेहता ने कहा कि अगर सड़क की दशा नहीं सुधरी, तो हिमाचल का सेब नहीं, बल्कि किसानों का भविष्य बर्बाद हो जाएगा।बाइट अरुण मेहता