डल्हौज़ी के आदिदेव राठौर ने JEE Main 2025 में बटोरी चमकदार सफलता, 99.33 परसेंटाइल के साथ बढ़ाया हिमाचल का मान

छोटे शहर से बड़ा सपना, अब कंप्यूटर इंजीनियर बनकर देश की सेवा का संकल्प

(विशेष रिपोर्ट: सुभाष महाजन)

डल्हौज़ी। जब समर्पण, परिश्रम और परिवार का साथ हो, तो पहाड़ भी रास्ता बन जाते हैं। कुछ ऐसा ही कर दिखाया है डल्हौज़ी निवासी आदिदेव राठौर ने, जिन्होंने JEE Main 2025 में 99.33 परसेंटाइल प्राप्त कर पूरे क्षेत्र का सिर गर्व से ऊँचा कर दिया है।

आदिदेव, जो डॉक्टर नवदीप राठौर और पूजा राठौर के बेटे हैं, शुरू से ही शिक्षा में अव्वल रहे हैं। 10वीं कक्षा में ICSE बोर्ड से 96.81% अंक प्राप्त कर उन्होंने अपनी प्रतिभा का पहला प्रमाण दिया था। अब उनका सपना है एक कंप्यूटर इंजीनियर बनकर देश और समाज की प्रगति में योगदान देना।

सफलता का मूल मंत्र – मेहनत और परिवार का साथ

आदिदेव ने इस सफलता का श्रेय अपने माता-पिता, गुरुजनों और परिवार के आशीर्वाद को दिया है। उन्होंने बताया कि पढ़ाई के दौरान उन्हें हर कदम पर मानसिक संबल और मार्गदर्शन मिलता रहा, जिसने कठिन से कठिन समय को भी आसान बना दिया।

संघर्षों की मिसाल और बहन का आदर्श

आदिदेव की बड़ी बहन सुहानी राठौर, जो वर्तमान में चंबा मेडिकल कॉलेज में MBBS की पढ़ाई कर रही हैं, भी उनके लिए एक प्रेरणा रही हैं। एक ही परिवार से दो होनहार छात्र – यह किसी भी समाज के लिए गर्व की बात है।

छोटे शहर से बड़े सपनों की उड़ान

डल्हौज़ी जैसे पर्वतीय क्षेत्र से निकलकर देश की सबसे कठिन इंजीनियरिंग परीक्षा में इतनी ऊँची परसेंटाइल हासिल करना, इस बात का प्रमाण है कि सपनों को उड़ान देने के लिए केवल हौसला चाहिए, ज़मीन नहीं देखी जाती

समाज को दिया संदेश

आदिदेव की यह सफलता उन सभी छात्रों के लिए एक प्रेरणा है, जो सीमित संसाधनों के बावजूद असीम संभावनाओं को तलाश रहे हैं। उन्होंने साबित कर दिया कि अगर नीयत साफ हो, मेहनत ईमानदार हो और परिवार साथ हो – तो कोई भी मंज़िल दूर नहीं।

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