किसानों के लिए बड़ा अवसरसोलन स्थित राष्ट्रीय खुम्ब अनुसंधान केंद्र लगातार नई-नई मशरूम किस्मों पर अनुसंधान कर रहा है और इसमें उन्हें बड़ी सफलता भी मिली है। यदि किसान इन उन्नत किस्मों की खेती करते हैं, तो वे न केवल अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं बल्कि प्रदेश की अर्थव्यवस्था को भी सुदृढ़ कर सकते हैं। यह जानकारी खुम्ब अनुसंधान केंद्र के निदेशक विपिन शर्मा ने दी।राष्ट्रीय खुम्ब अनुसंधान केंद्र अब तक लगभग 150 मशरूम उत्पादकों को मार्गदर्शन दे चुका है। इस प्रशिक्षण के माध्यम से किसानों को यह सिखाया जाता है कि वे इन विशेष मशरूम की खेती कैसे कर सकते हैं और बाजार में अधिक लाभ कमा सकते हैं।इस शोध से स्पष्ट है कि मशरूम की औषधीय किस्मों की खेती देश के किसानों के लिए नए अवसर खोल सकती है। खुम्ब अनुसंधान केंद्र के निदेशक विपिन शर्मा बताया कि उनके द्वारा चार औषधीय मशरूम किस्मों पर कार्य किया गया और उनमें सफलता हासिल की गई। ये सभी मशरूम औषधीय गुणों से भरपूर हैं और चिकित्सा क्षेत्र में इनका उपयोग किया जाता है। वैश्विक बाजार में इनकी भारी मांग है, जिससे किसानों को खेती में बड़ा लाभ मिल सकता है।इनमें सबसे महत्वपूर्ण कीड़ा जड़ी मशरूम है, जिसकी बाजार में कीमत लगभग 1 लाख रुपये प्रति किलोग्राम तक पहुंच सकती है। यदि किसान इसका व्यावसायिक उत्पादन शुरू करें, तो वे अपनी आय को कई गुना बढ़ा सकते हैं।अनुसंधान केंद्र ने टर्की टेल और साइजोफ्लाम मशरूम जैसी अन्य औषधीय मशरूम किस्में भी विकसित की हैं। ये सभी मशरूम स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी हैं और बाजार में इनकी मांग तेजी से बढ़ रही है।बाइट खुम्ब अनुसंधान केंद्र के निदेशक विपिन शर्मा