बिलासपुर में पीसीसी पूर्व महासचिव एवं हिमुडा निदेशक जितेंद्र चंदेल के द्वारा आयोजित की गई प्रेस वार्ता

Press conference organized by former PCC general secretary and HIMUDA director Jitendra Chandel in Bilaspur.

पीसीसी पूर्व महासचिव एवं हिमुडा निदेशक जितेंद्र चंदेल ने प्रदेश सरकार से तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी के खिलाफ अभद्र भाषा का प्रयोग करने वाले कर्मचारी नेताओं के खिलाफ सरकारी सेवा नियमों के खिलाफ कडी कार्रवाई करने की मांग की है। अथवा यह कर्मचारी नेता उनसे माफी मांगे। वह शनिवार को बिलासपुर में पत्रकारों को संबोधित कर रहे थे। उन्हांेंने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने हमेशा कर्मचारी हितैषी रहे है। उन्होंने सता पर काबिज होेते ही सबसे पहले प्रदेश कर खराब आर्थिक स्थिति के चलते भी कर्मचारियों के लिए ओपीएस को लागू किया । उन्होंने कहा कि जहां तक कर्मचारी संगठन डीए और एरियर की बात कर रहे हैं उनका हक है। उनको मिलना चाहिए परंतु उन्हें भी सोचना चाहिए कि प्रदेश की आर्थिक स्थिति क्या है । उन्होंने कहा कि पिछले सरकार के समय से सात प्रतिशत डीए मिलना था जो नहीं मिल पाया। वही एरियर भी 2016 से मिलना था तो जब 5 साल प्रदेश में भाजपा की सरकार रही तो उस समय कर्मचारियों ने इस तरह की बात क्यों नहीं की। उन्होंने कहा कि राजेश धर्माणी की बात है वह स्कूल से लेकर एनआईटी में भी टॉपर रहे और जन सेवा करने के उददेश्य से राजनीति के लिए आएं है। जिसके उन्होंने अच्छी नौकरी को भी ठुकरा दिया था। उन्होंने कहा कि कुछ कर्मचारी नेता अपनी राजनीति चमकाने के लिए इस तरह की बयान बाजी कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि कर्मचारी केंद्र सरकार एनपीएस के 9000 करोड़ की राशि को वापिस लाने की मांग उठानी चाहिए। इस अवसर पर एपीएमसी के अध्यक्ष सतपालए वरिष्ठ कांग्रेस नेता राजेंद्र ठाकुर , निर्मला राजपूत सहित अन्य नेता भी उपस्थित रहे।