हिमाचल प्रदेश कौशल विकास निगम ने प्रदेश के युवाओं के लिए बेहतर शैक्षणिक अवसर बनाने के लिए विभिन्न क्षेत्र कौशल परिषदों के साथ दस नए समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए हैं। इन समझौता ज्ञापनों पर निगम के प्रबंध निदेशक जतिन लाल और दस विभिन्न क्षेत्र कौशल परिषदों के प्रतिनिधियों के बीच हस्ताक्षर किए। डॉ. जैन ने कहा कि मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू हिमाचली युवाओं के कौशल में निखार लाने के दृष्टिकोण से कार्य कर रहे हैं और निगम इसे मूर्त रूप प्रदान करने के लिए प्रयत्नशील है।
उन्होंने कहा कि कौशल उद्योग की आवश्यकताओं के अनुरूप कौशल प्रशिक्षण पर सरकार विशेष बल दे रही है। इसके अंतर्गत नवीन कार्यक्रमों की पहल की गई है। उन्होंने कहा कि विभिन्न क्षेत्र कौशल परिषदों और शैक्षणिक संस्थानों, उद्योग विशेषज्ञों और सरकारी निकायों के सहयोग से राज्य सरकार ने कौशल विकास के लिए सफलतापूर्वक अनुकूल वातावरण तैयार किया है। इस अवसर पर कौशल विकास निगम के प्रबंध निदेशक जतिन लाल ने कहा कि युवाओं के कौशल विकास में इस तरह के सहयोग महत्वपूर्ण हैं और इससे राज्य में प्रतिभावान युवाओं को तैयार करने में सहायता मिलेगी। यह समझौता युवाओं को अपने संबंधित क्षेत्रों में अग्रणी संस्थानों से सीखने के अद्वितीय अवसर भी प्रदान करेगा।
उन्होंने कहा कि विभिन्न निःशुल्क पाठ्यक्रमों के लिए 4000 से अधिक सीटें उपलब्ध हैं। इन पाठ्यक्रमों की कुल लागत लगभग 15 करोड़ रुपये है।यह सभी प्रशिक्षण कार्यक्रम निगम द्वारा प्रायोजित हैं और उम्मीदवारों को इन उच्च मूल्य वाले पाठ्यक्रमों के लिए भुगतान करने की आवश्यकता नहीं है।
उन्होंने बताया कि ऑटोमोटिव कौशल विकास परिषद फोर व्हीलर सर्विस तकनीशियन, ऑटोमोटिव सेल्स कंसल्टेंट और टू-व्हीलर सर्विस तकनीशियन में प्रशिक्षण प्रदान करेगी। हस्तशिल्प और कालीन परिषद हस्तशिल्प और कालीन बनाने के पांच प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रदान करेगा जिनमें कालीन के लिए सीएडी (कैड) डिजाइनर, लकड़ी के खिलौनो की कारीगरी, अपसाइक्लिंग स्क्रैप और ई-अपशिष्ट कारीगर, पारंपरिक सॉफ्ट टॉयज निर्माण और मिट्टी से कारीगरी संबंधी प्रशिक्षण शामिल हैं।
मीडिया क्षेत्र से संबंधित कौशल परिषद के तहत एनिमेटर, ग्राफिक डिजाइनर, एडिटर और साउंड एडिटर के प्रशिक्षण उपलब्ध होंगे। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रतिभागियों को कैमरा संचालन, संपादन, ध्वनि डिजाइन, पटकथा लेखन और उत्पादन प्रबंधन सहित मीडिया उत्पादन के विभिन्न पहलुओं की व्यापक समझ प्रदान करेंगे। एमएसएमई प्रौद्योगिकी केंद्र सीएनसी प्रोग्रामिंग लेथ और पीएलसी प्रोग्रामिंग और माइक्रोकंट्रोलर प्रोग्रामिंग में कौशल प्रशिक्षण प्रदान करेगा। कृषि क्षेत्र कौशल परिषद के तहत बागवानी विशेषज्ञ, डेयरी किसान पर्यवेक्षक, मछली पालन (एक्वाकल्चर) कार्यकर्ता और पुष्प उत्पादन (फ्लोरीकल्चरिस्ट) के प्रशिक्षण प्रदान किए जाएंगे।
लॉजिस्टिक क्षेत्र कौशल परिषद कूरियर एसोसिएट ऑपरेशंस, लैंड ट्रांसपोर्टेशन एग्जीक्यूटिव और वेयरहाउस एग्जीक्यूटिव सहित तीन प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रदान करेगा। माल की आवाजाही को सुविधाजनक बनाने, आपूर्ति श्रृंखलाओं के प्रबंधन और परिचालन दक्षता को अनुकूलित करने में यह प्रशिक्षण महत्वपूर्ण हैं। जेम एंड ज्वेल क्षेत्र कौशल परिषद ज्वेलरी डिजाइनर, ज्वेलरी रिटेल सेल्स एसोसिएट, स्टोन फिक्सर-इमिटेशन ज्वेलरी, ज्वेलरी मूल्यांकक और मूल्यांकन कर्ता और ज्वैलरी फ्रेम और कंपोनेंट निर्माण में प्रशिक्षण प्रदान करेगा। ये उच्च मूल्य वाले प्रशिक्षण कार्यक्रम आभूषण बनाने की अत्याधुनिक तकनीक प्रदान करते हैं।
खेल क्षेत्र कौशल परिषद के तहत फिटनेस ट्रेनर, लाइफ गार्ड ओपन वॉटर, सेल्फ डिफेंस असिस्टेंट और सेल्फ डिफेंस ट्रेनर के प्रशिक्षण उपलब्ध होंगे। कैपिटल गुड्स क्षेत्र कौशल परिषद स्टड वेल्डिंग ऑपरेटर, लैब तकनीशियन-मेटल टेस्टिंग और तकनीशियन इंस्ट्रूमेंटेशन के प्रशिक्षण उपलब्ध करवाएगा। विभिन्न उद्योगों में पूंजीगत वस्तुओं के महत्व और आर्थिक विकास में इनका महत्वपूर्ण योगदान है। फर्नीचर और फिटिंग क्षेत्र कौशल परिषद सहायक बढ़ई के लिए लकड़ी के फर्नीचर तैयार करने का प्रशिक्षण प्रदान करेगा।