बरसात के दौरान दो मर्तबा हुई भारी बारिश से जहां कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी वहीं कईयों को घर से बेघर होना पड़ा। इस बारिश के कारण बेजुबान पशुओं को भी काल का ग्रास बनना पड़ा है।
मंडी जिला में जुलाई और अगस्त के महीने में हुई भयंकर बारिश के कारण 465 पशुओं की मौत हुई है और इस कारण पशुपालकों का 1 करोड़ 33 लाख 16 हजार 500 का वित्तिय नुकसान हुआ है। दुधारू पशुओं के मरने के कारण जिला में 45 लाख 76 हजार 500 के उत्पादन का नुकसान भी आंका गया है।
पशुपालन विभाग के उपनिदेशक डॉ संजीव नड्डा ने जानकारी देते हुए बताया कि जिला में भारी बारिश के कारण अभी तक 93 गउऐं, 28 भैंसें, 16 बैल, 16 बछड़ियां, 15 बछडे, 3 कट्टियां, 291 भेड़-बकरियां और 3 खच्चर-घोड़ों की मृत्यु हुई है। इन सभी की रिपोर्ट जिला प्रशासन के माध्यम से सरकार को भेज दी गई है और सभी को प्रशासन द्वारा नियमों के तहत मुआवजा प्रदान किया जा रहा है।
वहीं, भारी बारिश के कारण पशुपालन विभाग का भी 1 करोड़ 62 लाख 33 हजार का नुकसान हुआ है। विभाग के 9 भवन भारी बारिश की चपेट में आए हैं जिनमें 4 भवन पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुके हैं। इनमें पशु औषधालय घ्राण, शिवाबदार, रजवाड़ी और भद्रवाड़ शामिल हैं। बाकी पांच भवनों को भी काफी ज्यादा नुकसान पहुंचा है। जो भवन पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुके हैं उनका संचालन निजी भवनों में किराए के कमरे लेकर दोबारा से शुरू कर दिया गया है।