हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) में फर्जी दस्तावेजों के आधार पर हज़ारों मोबाइल सिम संचालित हो रहे हैं। इन्हें गलत पते और गलत नाम पर जारी किया गया है। राज्य के दूरसंचार विभाग (Department of Telecommunications) ने खुलासा किया है कि प्रदेश भर में 3,694 मोबाइल सिम फ़र्ज़ी हैं। ये गलत दस्तावेजों पर दिए गए हैं। पिछले दिनों प्रदेश के अलग-अलग जिलों में भी फेक सिम कार्ड को लेकर पुलिस ने मामले दर्ज किए हैं। दूरसंचार विभाग ने पूरे प्रदेश का डाटा एकत्रित किया तो फेक सिम कार्डों का आंकड़ा 3,694 निकला। इनमें कई फेक सिम कार्ड (SIM card) शिमला जिला से भी जारी हुए हैं।
इसे लेकर दूरसंचार विभाग ने जिला के 8 थानों में केस दर्ज करवाया है। इसमें आईपीसी की धारा 420 व 465 लगाई गई है। दूरसंचार विभाग के अतिरिक्त निदेशक की ओर से शिमला सदर पुलिस स्टेशन में दी गई शिकायत के मुताबिक राज्य में 3,694 सिम कार्ड फेक मिले हैं। इनमें कई फेक सिम कार्ड शिमला शहर के विभिन्न बिक्री एजेंटों की ओर से जारी हुए हैं। इसके अलावा झाकड़ी, चौपाल, रामपुर, कुमासेन, रोहड़ू, ठियोग, चिडग़ांव थानों में भी दूरसंचार विभाग ने फेक सिम कार्ड की एफआईआर दर्ज करवाई है।
दरअसल दूरसंचार विभाग ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित फेशियल रिकग्निशन टूल के माध्यम से हिमाचल में टेलीकॉम सिम सब्सक्राइबर के डाटा का सत्यापन किया तो फर्जी तरीके से लिए गए हजारों सिम का खुलासा हुआ। यह टूल ग्राहक की छवियों का उपयोग कर उनकी तुलना दूसरों के साथ करता है।
उधर, दूरसंचार विभाग ने शिमला के झाकड़ी पुलिस स्टेशन में भी फेक सिम कार्ड को लेकर एफआईआर दर्ज करवाई है। विभाग ने ज्यूरी के 3 दुकानदारों पर फेक सिम कार्ड जारी करने का आरोप लगाया है।
आशंका है फ़र्ज़ी सिम कार्डों का इस्तेमाल साइबर अपराध और अवैध गतिविधियों में किया जा रहा है।हिमाचल प्रदेश में पिछले कुछ समय से साइबर अपराध के मामलों में बढ़ोतरी देखी गई है।
दूरसंचार विभाग की शिकायत पर अब शिमला पुलिस जांच में जुट गई है। पुलिस यह पता लगाएगी कि इन फेक सिम कार्डों की बिक्री किन एजेंटों से हुई है। इसके बाद धोखाधड़ी में शामिल सिम बिक्री एजेंटों को भी ब्लैकलिस्ट में डाल दिया जाएगा।