भारतीय जनता पार्टी व कांग्रेस में नहीं कोई बड़ा अंतर : रजनीश शर्मा

मंडी शहर के बीचों-बीच मौजूद सबसे पुराने सरकारी स्कूल के यू-ब्लॉक की प्राचीन इमारत को गिरा कर करोड़ों की लागत से बनने वाली बहुमंजिला पार्किंग व शापिंग मॉल मामला एक बार फिर सुर्खियों में आ गया है। मामले में ग्लोबल ज्यूरिस्ट एवं एडवोकेट रजनीश शर्मा ने सुंदरनगर में आयोजित प्रेसवार्ता में प्रदेश सरकार व सांसद प्रतिभा सिंह पर गंभीर आरोप लगाए हैं।

रजनीश शर्मा ने कहा कि भाजपा व कांग्रेस के बीच कोई बड़ा अंतर नहीं है। ऐतिहासिक विजय सेन सरकारी स्कूल में यू-ब्लॉक तोड़ने के मामले पूर्व भाजपा सरकार के समय में कोई कार्रवाई नहीं होने के बाद वर्तमान कांग्रेस सरकार में भी वैसे ही हालात हैं। उन्होंने कहा कि मामले को प्रदेश के सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू और सांसद प्रतिभा सिंह के समक्ष उठाने के बावजूद अभी तक भाजपा की तरह ही कांग्रेस द्वारा कोई भी कदम नहीं उठाया गया है। विजय सेन स्कूल मामला सर्वोच्च न्यायालय में विचाराधीन है। लेकिन मौके पर निर्माण कार्य बेरोकटोक जारी है।

रजनीश शर्मा ने कहा कि मौके पर स्कूल के साथ सड़क दूसरी बार क्षतिग्रस्त हो गई है। इसको लेकर ठेकेदार पर एफआईआर दर्ज होनी चाहिए। उन्होंने मंडी सांसद प्रतिभा सिंह पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि विजय सेन स्कूल मामले को सांसद आजतक कहीं भी उठा नहीं पाई है। इससे प्रतीत होता है कि मंडी में कांग्रेस का हाथ निर्माण कार्य कर रहे ठेकेदार के साथ है।

रजनीश शर्मा ने प्रदेश सरकार से मांग करते हुए कहा है कि विजय सेन स्कूल में जारी निर्माण कार्य के कारण बच्चों की कभी भी जानमाल हानि हो सकती है। इसलिए सर्वोच्च न्यायालय का फैसला आने तक विजय स्कूल यू-ब्लॉक के निर्माण कार्य को बंद करवाया जाए। प्रदेश सरकार मामले में कानून का सम्मान करें और कार्रवाई अमल में लाई जाए।

बता दें कि बीते 2 वर्षों से मंडी शहर के सरकारी विजय सेन स्कूल के यू-ब्लॉक को तोड़कर मल्टी स्टोरी पार्किंग और शॉपिंग कांप्लेक्स बनाने के सरकारी फरमान के खिलाफ आंदोलन किया जा रहा है। पूर्व भाजपा सरकार में शुरू हुए इस कार्य को लेकर वर्तमान कांग्रेस सरकार के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को विजय सेन स्कूल बचाओ आंदोलन के कार्यकर्ताओं द्वारा एक ज्ञापन भी सौंपा गया था।

मामले में आंदोलन की कानूनी लड़ाई लड़ रहे एडवोकेट एवं ग्लोबल जूरिस्ट रजनीश शर्मा द्वारा मामले में कड़ा संज्ञान नहीं लेने पर प्रदेश सरकार को आत्मदाह तक की चेतावनी दी गई थी। वहीं अब मामले में एडवोकेट रजनीश शर्मा द्वारा सरकार और सांसद के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है।