उत्तराखंड में हौसलों को उड़ान देने में कुछ महिलाओं का समूह जुट गया है। जंगल में लकड़ी बिनने के साथ इन्होंने हाथ में क्रिकेट बैट पकड़ लिया है। पौड़ी जिले के बीरोंखाल ब्लॉक में कुंजेश्वर महादेव समिति महिलाओं का क्रिकेट टूर्नामेंट करा रही है। स्थानीय लोग इसको देख इतना खुश हुए कि 3.5 लाख लाख का नकद इनाम घोषित कर दिया।
स्थानीय लोग इस टूर्नामेंट के पक्ष में हैं। विजेता और उपविजेता के लिए केएमएस की पुरस्कार राशि क्रमशः 3,000 रुपये और 1,500 रुपये है। स्थानीय लोगों ने उत्कृष्ट खिलाड़ियों के लिए 3.5 लाख रुपये के नकद पुरस्कार की घोषणा की। रावत कहते हैं, खिलाड़ियों की उम्र 14 से 50 के बीच है और अधिकांश ने पहले कभी नहीं खेला था, लेकिन उत्साह में कोई कमी नहीं है। टूर्नामेंट 7 जनवरी को शुरू हुआ था। फाइनल इस महीने के अंत में है। ये टूर्नामेंट टेनिस बॉल से 5-5 ओवर का खेला जा रहा है।
कई क्रिकेट नियमों में किए बदलाव
क्रिकेट नियमों में कुछ बदलाव किए गए। चूंकि अधिकांश खिलाड़ियों ने कभी बल्ला या गेंद नहीं पकड़ी थी, इसलिए एलबीडब्ल्यू, लेग बाई और बाई जैसे नियम अलग रख दिए गए। हालांकि ‘नो बॉल’ और ‘वाइड बॉल’ को लागू किया जा रहा है। दर्शकों में महिलाएं भी बड़ी संख्या में मौजूद हैं। रावत ने कहा, “तिमली, नैनस्यूं, बैनरो, पुंजोली और गुरीदशीलथला जैसे कई दूरदराज के गांवों से महिलाएं टूर्नामेंट में खेलने आई हैं। यह उनके लिए एक-दूसरे के साथ जुड़ने का एक शानदार तरीका है।”
देश को मिलेंगे नए खिलाड़ी
उत्तराखंड महिला क्रिकेट अंडर-19 टीम की कप्तान कनक टूपरनिया ने कहा, “सबसे बड़ा श्रेय उन लोगों को जाता है जो इस अवधारणा के साथ आए। इसने महिलाओं को अपने घरों से बाहर निकलने में मदद की। खुद का आनंद लिया और एक साथ समय बिताया। इस तरह की पहल से देश के लिए नए खिलाड़ी ढूंढने में मदद मिल सकती है।”
टीम ही नहीं, हर महिला को मिली जीत
कई स्थानीय पर्यवेक्षकों का कहना है कि यह टूर्नामेंट पहाड़ी महिलाओं के लिए एक बड़ा ब्रेक है, जिनका जीवन कठिन है और उनके पास खुद के लिए बहुत कम समय है। पुंजोली निवासी करिश्मा देवी, जिन्होंने अपनी गांव टीम का प्रतिनिधित्व किया था। वह कहती हैं कि क्रिकेट ने न केवल उन्हें अपने घरों और थका देने वाली दिनचर्या से बाहर निकाला, बल्कि इसने उन्हें खराब सड़क कनेक्टिविटी जैसे मुद्दों को उठाने की भी अनुमति दी। टूर्नामेंट केवल एक ही टीम जीतेगी, लेकिन पौड़ी की हर महिला, जो खेल रही है या देख रही है, पहले ही जीत चुकी है।